प्रयागराज महाकुंभ मेला भगदड़ समाचार LIVE: भगदड़ में घायल अपने बच्चों का इलाज कराने अस्पताल पहुंची एक महिला ने अपनी आपबीती सुनाते हुए दावा किया, “जाने के लिए कोई रास्ता नहीं था। कुछ लोग हमें धक्का दे रहे थे और हंस रहे थे, जबकि हम उनसे बच्चों के प्रति दया की भीख मांग रहे थे।”
प्रयागराज महाकुंभ मेला भगदड़ समाचार LIVE:
भगदड़ में 30 श्रद्धालुओं की मौत की पुष्टि
महाकुंभ मेले में बुधवार तड़के संगम नोज पर मची भगदड़ के कारण अब तक 30 श्रद्धालुओं की मौत हो चुकी है। इस हादसे पर मीडिया से बात करते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ भावुक हो गए। उन्होंने बताया कि उपचार के बाद कई लोग अपने परिजनों के साथ घर लौट चुके हैं। सीएम योगी ने कहा कि प्रयागराज में अधिक भीड़ के कारण मार्ग चोक हो गए थे और प्रशासन उसे खोलने के लिए जुटा था।
घटना की न्यायिक जांच का आदेश
सीएम योगी ने बताया कि राज्य सरकार ने घटना की न्यायिक जांच के आदेश दिए हैं। जस्टिस हर्ष कुमार के नेतृत्व में तीन सदस्यीय जांच कमेटी इस मामले की जांच करेगी। इसमें जस्टिस हर्ष कुमार के अलावा पूर्व डीजी वीके गुप्ता और रिटायर्ड IAS वीके सिंह शामिल होंगे। साथ ही, पुलिस भी इस हादसे की जांच करेगी। सीएम योगी ने पीड़ित परिवारों को 25 लाख रुपये की मदद देने का ऐलान किया है।
हादसे में 90 लोग घायल, 25 की पहचान हो चुकी है
महाकुंभ मेला के DIG वैभव कृष्ण ने बताया कि रात 1 से 2 बजे के बीच हुई भगदड़ में 30 श्रद्धालुओं की मौत हो गई। इनमें से 25 की पहचान हो चुकी है, और हादसे के बाद 90 लोग अस्पताल पहुंचे।

कुंभ में व्यवस्था सुधारने के लिए अधिकारियों की तैनाती
महाकुंभ मेला में हुई इस दुखद घटना के बाद प्रशासन ने कुंभ 2019 के समय तैनात दो वरिष्ठ अधिकारियों समेत पांच विशेष सचिव स्तर और पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारियों को तैनात करने का फैसला लिया है। उत्तर प्रदेश सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की बैठक में इस संबंध में निर्देश दिए गए हैं। इस निर्देश के बाद आशीष गोयल और भानु गोस्वामी की तैनाती की जा रही है, जो पहले कुंभ 2019 में अहम जिम्मेदारी निभा चुके हैं। इसके साथ ही, पांच अन्य विशेष सचिव और पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारियों को भी तैनात किया जाएगा।
भगदड़ का कारण – डीआईजी कुंभ मेला
डीआईजी कुंभ मेला वैभव कृष्ण ने बताया कि मौनी अमावस्या स्नान के समय ब्रह्म मुहूर्त से पहले रात 1 से 2 बजे के बीच अखाड़े के रास्ते पर भारी भीड़ जमा हो गई थी, जिसके कारण दूसरी तरफ के बैरिकेड टूट गए। इस वजह से भीड़ दूसरी तरफ चली गई और ब्रह्म मुहूर्त का इंतजार कर रहे श्रद्धालुओं को कुचलने लगी। प्रशासन ने तुरंत बचाव अभियान शुरू किया और घायलों को अस्पताल पहुंचाने के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया। दुर्भाग्यवश, 30 श्रद्धालुओं की मौत हो गई।
हादसे के बाद के आंकड़े
डीआईजी ने बताया कि 25 मृतकों की पहचान हो चुकी है, जबकि 5 की पहचान अभी बाकी है। हादसे में घायल कुछ श्रद्धालुओं को उनके रिश्तेदार अपने साथ ले गए हैं। 36 घायलों का इलाज स्थानीय मेडिकल कॉलेज में चल रहा है। श्रद्धालुओं की मदद के लिए मेला प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर 1920 जारी किया है।
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